बरेली। जिले में पिछले कुछ दिनों से अचानक बढ़ी कड़ाके की सर्दी ने लोगों के हाथों और पैरों की उंगलियों में दर्द और सूजन बढ़ा दी है, जिसके कारण दैनिक दिनचर्या भी प्रभावित हो रही है। विशेष तौर उन महिलाओं को परेशानी हो रही है जिन्हें सुबह रसोई में काम करना पड़ता है।
अस्पतालों में मरीजों की संख्या में बढ़ोत्तरी हो रही है। यह ऐसी परेशानी है कि न गर्म सिकाई कर सकते हैं, न ही ऊनी जुराब पहन सकते हैं, दर्द निवारक दवाई खाने और मलहम लगाने से और भी परेशानी बढ़ जाती है।

खुशलोक हॉस्पिटल के जनरल फिजीशियन डॉ. सुधीर यादव के मुताबिक ठंड के कारण हाथ पैर की उंगलियां और कई मामलों में कान का निचला हिस्सा लाल होकर सूज जाता है। इन अंगों में कभी तेज खुजली, गर्माहट या जलन महसूस होती है, तो कई बार जख्म भी बन जाता है।
अगर शुरूआत में ध्यान न दिया जाये तो बीपी या डायबीटीज मरीजों के लिए ये वीमारी खतरनाक साबित हो सकती है। यहां तक कि उनका प्रभावित अंग काटना भी पड़ जाता है। उनके मुताबिक जिन लोगों की त्वचा संवेदनशील होती है, उन्हें तेज ठंड के बाद अचानक ज्यादा गर्माहट मिलने पर या गर्मी से एकदम से ठंड में जाने पर दिक्कत हो जाती है। यह समस्या अधिक सर्दी पड़ने पर और ज्यादा बढ़ जाती है।
महिलाओं को यह समस्या अधिक होती है क्योंकि सुबह व शाम को किचन और घर का काम करना पड़ता है। डॉ. यादव ने बताया कि हाथ पैर एवं शरीर को ढककर रखें, चिलब्लेंस होने पर डॉक्टर की सलाह लें।
इस तरह से करें बचाव
ठंड से बचें या ठंड के कम संपर्क में आएं।
गर्म और लूज कपड़े पहनें, इसके साथ ही अपने हाथों और पैरों को ढक कर रखें।
यदि आपकी त्वचा ठंड के संपर्क में आती है, तो इसे धीरे-धीरे फिर से गर्म करें।
यदि हाथ पैर की उंगलियों में दर्द का एहसास हो तो एकदम गर्म पानी में डालने के बजाए गुनगुने पानी का प्रयोग करें।
पैरों में दो जुराबें पहनें। ऊनी जुराब के अंदर सूती जुराब पहनें, क्योंकि ऊनी जुराब से परेशानी बढ़ सकती है।
प्रभावित हिस्से को नाखूनों से न खुजलाए क्योंकि इससे आपकी समस्या बढ़ सकती है। इसके बजाए किसी नर्म कपड़े से सहलाएं।
हाथों में दस्ताने जरूर पहनें।
सुबह उठने पर एकदम से ठंड में न जाएं।
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