बरेली। डीएम अविनाश कुमार सिंह बुधवार को स्वास्थ्य सेवाओं की जमीनी हकीकत जानने के लिए करीब 1:30 घंटे तक बरेली जिला अस्पताल में मरीज की तरह घूमते रहे। वह पर्चा काउंटर पर गए, साथ ही विभिन्न वार्डों का निरीक्षण किया। इस दौरान उन्हें तमाम अव्यवस्थाएं मिली। स्टाफ को डीएम के आने की जानकारी मिली तो उन्होंने सीएमओ और एडीएसआईसी को इसकी जानकारी दी तो दोनों डीएम के पास पहुंचे। इस पर डीएम ने दोनों लौटा दिया।
बुधवार सुबह करीब 10:30 बजे डीएम अविनाश कुमार सिंह जिला अस्पताल पहुंचे। उन्होंने अपनी गाड़ी गेट पर ही छोड़ दी, इसके वह पैदल जिला अस्पताल के अंदर दाखिल हुए। उनके साथ केवल पीआरओ इमरान थे। डीएम ने आम मरीज की तरह काउंटर पर जाकर पर्चा बनवाया। किसी को शक न हो तो वह अपने मुंह पर मास्क लगाए थे।
यह भी पढ़ें- Janta Transport के मालिक ने फर्जीवाड़ा कर करीबियों को किया मालामाल, यहां पढ़ें पूरा मामला

डीएम ने करीब डेढ़ घंटे तक अकेले ही जिला अस्पताल के विभिन्न वार्डों में जाकर स्थिति का जायजा लिया। इस दौरान वह इमरजेंसी वार्ड, पैथोलॉजी लैब, ओपीडी और महिला अस्पताल तक गए। इस दौरान उन्होंने मरीजों से बातचीत कर स्वास्थ्य सुविधाओं के बारे में भी जानकारी ली। उन्होंने स्टाफ से भी बातचीत की लेकिन किसी भी स्टाफ को यह पता नहीं थे वे जिनसे बात कर रहे हैं वह कौन हैं।
यह भी पढ़ें- Power Corporation: अधिशासी अभियंता सत्येंद्र चौहान के कार्यालय में मौजूद साक्ष्य, जो बनेंगे गले की फांस

बरेली जिला अस्पताल में मिलीं खामियां, डॉक्टर को लगाई फटकार
डीएम ने महिला अस्पताल का भी निरीक्षण किया। इस दौरान उन्हें एक पर्चा काउंटर खाली मिला। मरीज गर्मी से बेहाल लाइन में खड़े परेशान हो रहे थे। मरीजों ने बताया कि कुछ डॉक्टर मरीजों को नहीं देखते हैं। वे कई दिनों से डॉक्टर को दिखाने के लिए परेशान हैं। इस पर उन्होंने मौके पर ही संबंधित डॉक्टर को डांटते हुए इलाज शुरू करने के निर्देश दिए। इस दौरान एडीएम और सीडीओ भी अन्य वार्डों में आम लोगों की तरह पहुंचे और मरीजों से बातचीत कर उनकी परेशानी जानी।
यह भी पढ़ें- Faridpur & Bilpur Railway Overbridge : पब्लिक झेल रही दुश्वारी क्योंकि ठेकेदार की फर्म में बड़े साहब की है हिस्सेदारी
शासन की मंशा हर मरीज को मिले बेहतर इलाज
डीएम अविनाश कुमार ने कहा कि शासन की मंशा है कि हर मरीज को समय पर सही इलाज मिले और उसे किसी तरह की परेशानी न हो। इसी के मद्देनजर उन्होंने और उनके अधिकारियों ने जिला अस्पताल पहुंचकर जमीनी हकीकत जानी। निरीक्षण पाया कि तीमारदारों के बैठने की कोई व्यवस्था नहीं है और पार्किंग भी अव्यवस्थित है। उन्होंने संबंधित अधिकारियों को मरीजों के बैठने की समुचित व्यवस्था करने और पार्किंग की समस्या के समाधान के निर्देश दिए।