बरेली। बरेली विकास प्राधिकरण (बीडीए) रामगंगा नगर योजना में 28.99 करोड़ की लागत से नए बिजली सब स्टेशन का निर्माण करा रहा है। सब स्टेशन के निर्माण कार्य की शुरुआत में ही ठेकेदार ने घपला शुरू कर दिया। इसके चलते पॉवर कारपोरेशन को सब स्टेशन का निर्माण कार्य रोकना पड़ा है। तीन महीने से अधिक समय से सब स्टेशन का निर्माण कार्य ठप है। यह मामला पॉवर कारपोरेशन से जुड़े इंजीनियर और ठेकेदारों के बीच चर्चा का विषय बना हुआ है। मुख्यमंत्री के बरेली आगमन पर उनके सामने यह मामला उठ सकता है।
बीडीए ने अपनी सबसे बड़ी रामगंगा नगर योजना में चार बिजली सब स्टेशन निर्माण का लक्ष्य रखा है। जिसमें से एक बिजली सब स्टेशन निर्माण का काम शुरू हो चुका है। इस सब स्टेशन के निर्माण की लागत 28.99 करोड़ रुपए है। सब स्टेशन के निर्माण का काम सरस्वती इलेक्ट्रिकल इंटरप्राइजेज को मिला है। बिजली सब स्टेशन के निर्माण का सुपरविजन मध्यांचल विद्युत वितरण निगम को सौंपा गया है। इसके लिए बरेली विकास प्राधिकरण की ओर से मध्यांचल विद्युत वितरण निगम को कुल लागत का 15 फीसदी धनराशि सुपरविजन चार्ज के रूप में जमा की गई है। निर्माण में लगने वाले सामान को यूपीपीसीएल की टीम के प्री डिस्पैच इंस्पेक्शन (माल निर्माण के समय निरीक्षण) के बाद ही ठेकेदार को काम शुरू करना था। लेकिन ठेकेदार ने प्री डिस्पैच निरीक्षण से पहले ही बिजली सब स्टेशन निर्माण कार्य शुरू कर दिया। इसमें अधिकांश सामग्री निर्धारित मानक से कम यानि कि अधोमानक लगाई गई है।
फीस भुगतान से पहले 40 फीसदी निर्माण
ठेकेदार ने निर्माण कार्य में शुरुआत से ही खेल दिखाते हुए सुपरविजन फीस का भुगतान करने से पहले ही बिजली सब स्टेशन का निर्माण शुरू कर दिया। मध्यांचल विद्युत वितरण निगम को सुपरविजन फीस का भुगतान हाल ही में हुआ है, जबकि तब तक ठेकेदार ने निर्धारित मानक से कम मोटाई के तार की केबिल कई किलोमीटर तक बिछा दी। इसमें बड़े पैमाने पर गोलमाल किया गया। अब तक लगभग 40 फ़ीसदी से अधिक निर्माण कार्य हो चुका है लेकिन प्री डिस्पैच इंस्पेक्शन और साइट पर इंस्पेक्शन अभी तक नहीं हो पाया है।
सीपीआरआई भेजी गई जाँच के लिए केबिल
बरेली विकास प्राधिकरण ने जब मध्यांचल विद्युत वितरण निगम को सुपरविजन की धनराशि का भुगतान किया तो उसके बाद विद्युत वितरण निगम हरकत में आया। मध्यांचल विद्युत वितरण निगम के इंजीनियरों ने मौके का निरीक्षण किया। सूत्रों के अनुसार इंजीनियरों के निरीक्षण में जमीन के अंदर बिछाई गई केबल का तार निर्धारित मानक से कम मोटाई का निकला। उसके बाद केबल को जांच के लिए सीपीआरआई बैंगलोर को भेजा गया है। तब तक निर्माण के काम को फिलहाल रोक दिया गया है। मगर, ठेकेदार, बीडीए के इंजीनियरों के अलावा पावर कारपोरेशन के इंजीनियरों से सांठगांठ करके अधोमानक काम फिर से शुरू करने में लगे हैं।
मुख्यमंत्री के समक्ष उठ सकता है घपले का मामला
रामगंगा नगर योजना के अंदर चलने वाले निर्माणाधीन विद्युत सब स्टेशन के निर्माण में घपले का मामला 10 जनवरी को मुख्यमंत्री के बरेली आगमन पर उनके समक्ष भी उठाया जा सकता है। सूत्रों के अनुसार भाजपा के कुछ जनप्रतिनिधि इस घपले को मुख्यमंत्री के समक्ष रख सकते हैं। इसके लिए पावर कॉरपोरेशन और बरेली विकास प्राधिकरण से तथ्य भी जुटाए गए हैं। अगर जन प्रतिनिधियों की मांग पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस मामले का संज्ञान लिया तो पावर कॉरपोरेशन और बरेली विकास प्राधिकरण के इंजीनियरों के अलावा ठेकेदार संस्था पर भी गाज गिरने के आसार हैं।
बिजली सब स्टेशन के निर्माण कार्य का अभी प्री डिस्पैच निरीक्षण नहीं किया गया है। हाल ही में सुपरविजन चार्ज विकास प्राधिकरण ने जमा किया है। लेकिन ठेकेदार ने सब स्टेशन का निर्माण काफी हद तक कर दिया है। जल्द ही टीम मौके पर जाकर प्री डिस्पैच निरीक्षण करेगी। अगर उसमे किसी तरह की कमी पाई गई तो दोषियों पर कार्रवाई होगी।
नितिन कुमार– अधिशासी अभियंता सेकेंड्री वर्क्स